मेरी कविताओं का विस्तृत संकलन
सच है फूलों में भी जान है .. और ये डाली पर ही अच्छे लगते हैं ...
आपकी इस प्रस्तुति की चर्चा कल सोमवार [08.07.2013]चर्चामंच 1300 पर कृपया पधार कर अनुग्रहित करें सादर सरिता भाटिया
ब्लॉग बुलेटिन की आज की बुलेटिन अमर शहीद कैप्टन विक्रम 'शेरशाह' बत्रा को सलाम - ब्लॉग बुलेटिन मे आपकी पोस्ट को भी शामिल किया गया है ... सादर आभार !
भावो को खुबसूरत शब्द दिए है अपने..
सुन लो सब इन मासूम फूलों का कहना......अनु
अत्यंत सुन्दर कविता | फूलों को या फिर कोई वनस्पति ही क्यों न हो उसे कभी तोडना नहीं चाहियें | बहुत गहन सन्देश | आभार !
बहुत ही अच्छा लिखा आपने .बहुत बधाई आपको .
बहुत सुन्दर कविता ! प्रकृति का मनोहारी चित्रण .
सच है फूलों में भी जान है .. और ये डाली पर ही अच्छे लगते हैं ...
जवाब देंहटाएंआपकी इस प्रस्तुति की चर्चा कल सोमवार [08.07.2013]
जवाब देंहटाएंचर्चामंच 1300 पर
कृपया पधार कर अनुग्रहित करें
सादर
सरिता भाटिया
ब्लॉग बुलेटिन की आज की बुलेटिन अमर शहीद कैप्टन विक्रम 'शेरशाह' बत्रा को सलाम - ब्लॉग बुलेटिन मे आपकी पोस्ट को भी शामिल किया गया है ... सादर आभार !
जवाब देंहटाएंभावो को खुबसूरत शब्द दिए है अपने..
जवाब देंहटाएंसुन लो सब इन मासूम फूलों का कहना......
जवाब देंहटाएंअनु
अत्यंत सुन्दर कविता | फूलों को या फिर कोई वनस्पति ही क्यों न हो उसे कभी तोडना नहीं चाहियें | बहुत गहन सन्देश | आभार !
जवाब देंहटाएंबहुत ही अच्छा लिखा आपने .बहुत बधाई आपको .
जवाब देंहटाएंबहुत सुन्दर कविता ! प्रकृति का मनोहारी चित्रण .
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